भ्रष्टाचार के विरोध में एकजुट हो रहे हैं शिक्षक, रमेश
आह्वान अगर नहीं दिखी एकता, तो वेतन के भी पढ़ सकते हैं लाले
✍️इन्द्रजीत सिंह मौर्य/मोहम्मद अरशद
जौनपुर। माध्यमिक शिक्षकों की मांगों को लेकर 24 फरवरी को जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय पर होने वाला धरना प्रदर्शन अब अपना रंग दिखाने लगा है । जिले भर के शिक्षकों ने इस धरने को सफल बनाने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगा दिया है।
शिक्षकों ने शुक्रवार को माध्यमिक शिक्षक संघ के पूर्व प्रदेश उपाध्यक्ष एवं नवगठित शिक्षक एकता समिति के सदस्य रमेश सिंह के
साथ दर्जनभर विद्यालयों में जनसंपर्क कर जोरदार हुंकार भरी।
इस दौरान विद्यालयों में शिक्षकों को सम्बोधित करते हुए रमेश सिंह ने कहा कि आज स्थितिया बिलकुल विपरीत हो चुकी हैं। सरकार की शिक्षक/कर्मचारी विरोधी नीतियों से विभागीय अधिकारियों की मानसिकता भी शिक्षकों/कर्मचारियों के शोषण की बन चुकी है।
ऐसी स्थिति में यदि इस कुत्सित मानसिकता के विरुद्ध एकजुट होकर संघर्ष नहीं किया गया तो वह दिन दूर नहीं जब शिक्षकों/कर्मचारियों को वेतन के लिए भी तरसना होगा।
N.P.S. की कटौती एवं राज्यान्श का अंतरण, सेवानिवृत्त होने वाले शिक्षकों/कर्मचारियों की देयक पत्रावलियो का प्रेषण ,विनियमितीकरण, आयोग चयनित अध्यापकों के वेतन भुगतना, वरिष्ठता सूची का प्रेषण, कतिपय विद्यालयों में शिक्षकों के अवैधानिक रूप से अवरूद्ध वेतन सहित दर्ज़नों समस्याए जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय स्तर पर लम्बित हैं ।
लेकिन सम्बंधित पटल पर तैनात कुछ कर्मचारियों द्वारा उसे निस्तारित करने के बजाए सुविधा शुल्क मिलने का इन्तजार किया जा रहा है। इसलिए अब शिक्षक साथियों को एकजुट होकर संघर्ष करने की आवश्यकता है और संगठन आपका नेतृत्व करने के लिए कृतसंकल्पित है। जनपद भ्रमण अभियान में जिला उपाध्यक्ष सुनील कुमार सिंह एवं अन्य शिक्षक साथी मौजूद रहे।
शिक्षकों ने खुलकर किया आहवान
जौनपुर। जिले के नेहरु इन्टर कालेज पतहना, जनता जनार्दन इन्टर कालेज जासोपुर चकिया, जय किसान इन्टर कालेज सरायख्वाजा , सहकारी इन्टर कालेज मिहरावा, राष्ट्रीय इन्टर कालेज जमुहाई, सर सैयद इन्टर कालेज सबरहद और मिर्जा अनवर बेग इन्टर कालेज उसरहटा शिक्षकों को संबोधित करते हुए उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ के पूर्व प्रदेश उपाध्यक्ष व आन्दोलन के अगुआ रमेश सिंह ने कहा कि शिक्षक हितों के लिए जो कदम अब आगे बढ़े हैं वह पीछे हटने वाले नहीं हैं। क्योंकि शिक्षकों का शोषण करने वाला कभी भी शिक्षक का हिमायती नहीं हो सकता। उपस्थित माध्यमिक शिक्षक और शिक्षणेत्तर कर्मचारियों ने रमेश सिंह का माल्यार्पण कर उनके आंदोलन को हर संभव सहयोग का भरोसा दिया।
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